PNB Bank New Rules: अगर आपका खाता पंजाब नेशनल बैंक यानी PNB में है, तो यह खबर आपके लिए बेहद जरूरी है। अक्सर लोग अपने बैंक खाते को लेकर लापरवाह हो जाते हैं और सोचते हैं कि सब कुछ अपने आप सही चलता रहेगा, लेकिन हकीकत यह है कि एक छोटी सी लापरवाही आपके मेहनत की कमाई को खतरे में डाल सकती है। PNB ने हाल ही में ग्राहकों की सुविधा और सुरक्षा को देखते हुए कुछ नए नियम और प्रक्रियाएँ लागू की हैं, जिन्हें समय रहते पूरा करना बेहद जरूरी है। अगर आपने अभी तक यह काम नहीं किया तो आने वाले समय में आपको बड़ा झटका लग सकता है।
कई ग्राहकों को पहले ही अलर्ट मिल चुका है और अब बैंक साफ कर चुका है कि जिन खाताधारकों ने समय पर जरूरी औपचारिकताएँ पूरी नहीं कीं, उनका खाता आंशिक रूप से फ्रीज़ भी किया जा सकता है। इसका मतलब है कि आप अपने ही पैसे समय पर इस्तेमाल नहीं कर पाएंगे। सोचिए, जब अचानक किसी जरूरी स्थिति में पैसे की ज़रूरत पड़े और बैंक से लेन-देन न हो पाए, तो उससे बड़ी परेशानी और क्या हो सकती है। इसलिए ज़रूरी है कि आप अभी सतर्क हो जाएँ और जान लें कि आखिर वो कौन-सा काम है, जिसे PNB के सभी खाताधारकों को तुरंत पूरा करना चाहिए, ताकि आगे चलकर किसी तरह की रुकावट या आर्थिक नुकसान का सामना न करना पड़े।
लॉकर रेट में बढ़ोतरी
PNB बैंक ने 1 अक्टूबर से लॉकर रेंट में बढ़ोतरी कर दी है। अब ग्राहकों को अपने लॉकर के साइज और शाखा के प्रकार के हिसाब से पहले से ज्यादा शुल्क देना होगा। छोटे लॉकर से लेकर बड़े लॉकर तक सभी कैटेगरी में रेट बढ़ाए गए हैं। ग्रामीण और अर्ध-शहरी शाखाओं में भी रेंट बढ़ा है और शहरी व मेट्रो शाखाओं में यह और ज्यादा महंगा हो गया है। उदाहरण के तौर पर, जहां पहले छोटे लॉकर का किराया कम था अब उसमें भी बढ़ोतरी कर दी गई है। यानी अब अगर आपका लॉकर PNB बैंक में है तो आपको हर साल पहले से अधिक रेंट चुकाना होगा। बैंक का कहना है कि यह बदलाव ऑपरेशनल खर्च और सुविधा को बेहतर बनाने के लिए किया गया है।
छोटा लॉकर
PNB बैंक ने छोटे लॉकर का रेंट भी बढ़ा दिया है। ग्रामीण शाखाओं में यह पहले जैसा ही 1000 रुपये है, लेकिन अर्ध-शहरी शाखाओं में इसे 1250 रुपये से बढ़ाकर 1500 रुपये कर दिया गया है। वहीं शहरी और मेट्रो शाखाओं में छोटे लॉकर का सालाना किराया 2000 रुपये तय किया गया है।
मध्यम लॉकर
मध्यम लॉकर का रेंट भी अब पहले से ज्यादा देना होगा। ग्रामीण शाखाओं में यह 2200 रुपये से बढ़कर 2500 रुपये हो गया है। अर्ध-शहरी शाखाओं में 2500 रुपये से बढ़कर 3000 रुपये हो गया है। शहरी शाखाओं में इसका रेंट अब 4000 रुपये कर दिया गया है।
बड़ा लॉकर
बड़े लॉकर का किराया भी काफी बढ़ा है। ग्रामीण शाखाओं में यह 2500 रुपये से बढ़कर 4000 रुपये हो गया है। अर्ध-शहरी शाखाओं में 3000 रुपये से बढ़ाकर 5000 रुपये कर दिया गया है। शहरी और मेट्रो शाखाओं में बड़ा लॉकर अब 6500 से 7000 रुपये तक का हो गया है।
बहुत बड़ा लॉकर
बहुत बड़े लॉकर का रेंट भी अब बढ़ाया गया है। ग्रामीण शाखाओं में यह 6000 रुपये है। अर्ध-शहरी शाखाओं में इसे 6000 रुपये से बढ़ाकर 7000 रुपये किया गया है। शहरी क्षेत्रों में 8500 रुपये और मेट्रो शाखाओं में यह 9000 से 12000 रुपये तक कर दिया गया है।
एक्स्ट्रा लार्ज लॉकर
सबसे बड़े यानी एक्स्ट्रा लार्ज लॉकर पर भी असर पड़ा है। ग्रामीण शाखाओं में इसका रेंट 10000 रुपये है। अर्ध-शहरी शाखाओं में इसे 10000 से बढ़ाकर 10500 रुपये कर दिया गया है। शहरी शाखाओं में 11000 रुपये और मेट्रो शाखाओं में 12000 रुपये सालाना शुल्क देना होगा।
स्टॉप पेमेंट इंस्ट्रक्शन शुल्क में बदलाव
PNB बैंक ने 1 अक्टूबर से स्टॉप पेमेंट इंस्ट्रक्शन के शुल्क में भी बदलाव कर दिया है। अब अगर आप किसी एक चेक पर स्टॉप पेमेंट लगाते हैं तो पहले जैसा ही शुल्क लगेगा, लेकिन अगर एक साथ कई चेकों पर स्टॉप पेमेंट कराते हैं तो शुल्क पहले से ज्यादा देना होगा। खासकर तब जब 5 या उससे अधिक चेकों पर स्टॉप पेमेंट की रिक्वेस्ट की जाती है, तो प्रत्येक चेक पर अतिरिक्त चार्ज लग सकता है। इसका सीधा मतलब है कि जिन ग्राहकों को बार-बार स्टॉप पेमेंट की जरूरत पड़ती है, उन्हें अब पहले से अधिक खर्च करना होगा।
- एक चेक पर स्टॉप पेमेंट शुल्क अभी भी ₹ 100 प्रति इंस्ट्रूमेंट ही रहेगा।
- लेकिन अगर आप पाँच या उससे अधिक चेकों पर स्टॉप पेमेंट करवाते हैं, तो अब शुल्क ₹ 500 हो जाएगा, जो पहले ₹ 300 था।
क्यों बदले जा रहे हैं यह नियम
PNB बैंक ने अपने नियम और शुल्क में बदलाव का फैसला मुख्य रूप से ऑपरेशनल खर्च और ग्राहक सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए किया है। बैंक के अनुसार, डिजिटल और ऑफलाइन दोनों तरह के लेन-देन, लॉकर मेंटेनेंस, शाखाओं का संचालन और तकनीकी इंफ्रास्ट्रक्चर पिछले कुछ सालों में काफी महंगा हो गया है। इसी वजह से बैंक ने लॉकर रेंट, स्टॉप पेमेंट इंस्ट्रक्शन और अन्य सेवा शुल्क में संशोधन किया है। नया शुल्क लागू करने से बैंक को अपनी सेवाओं की गुणवत्ता बनाए रखने में मदद मिलेगी और ग्राहकों को और अधिक सुरक्षित और सुविधाजनक सेवाएं दी जा सकेंगी। इसके अलावा, यह बदलाव ग्राहकों को भी जागरूक करता है कि उनके खाते और वित्तीय लेन-देन के लिए समय-समय पर अपडेट्स और नियमों को समझना जरूरी है। बैंक का यह कदम केवल अपनी लागत बढ़ोतरी को पूरा करने के लिए ही नहीं है, बल्कि यह ग्राहकों के लिए लंबी अवधि में बेहतर और भरोसेमंद बैंकिंग अनुभव सुनिश्चित करने की दिशा में भी है।
ग्राहक अब क्या करें
ग्राहकों के लिए अब सबसे जरूरी है कि वे अपने खाते और लॉकर की सभी जानकारियों को अपडेट रखें और नए नियमों के अनुसार तैयारी करें। सबसे पहले, यह देख लें कि आपका लॉकर किस साइज का है और आपके लिए नया रेंट कितना होगा। अगर आपका लॉकर या स्टॉप पेमेंट जैसी सेवाएं उपयोग में हैं, तो समय रहते बैंक में जाकर या नेट बैंकिंग/मोबाइल बैंकिंग के जरिए शुल्क और सेवा नियमों की पूरी जानकारी ले लें।
इसके अलावा, अपने खाते से जुड़ी सभी व्यक्तिगत जानकारी जैसे मोबाइल नंबर, ईमेल और पते को अपडेट रखें ताकि बैंक की नोटिफिकेशन और अलर्ट समय पर आपको मिल सकें। स्टॉप पेमेंट या अन्य लेन-देन के मामलों में सावधानी बरतें और जरूरत पड़ने पर ही सेवा का इस्तेमाल करें ताकि अनावश्यक शुल्क न लगे।
सबसे महत्वपूर्ण, बैंक की आधिकारिक वेबसाइट या शाखा से पूरी जानकारी लेकर अपने हिसाब से योजना बनाएं। यदि लॉकर रेंट या अन्य शुल्क आपके लिए अधिक हैं, तो बैंक से विकल्प पूछ सकते हैं, जैसे लॉकर साइज बदलना या अलग शाखा में ट्रांसफर करना। कुल मिलाकर, अब समय रहते जागरूक होना और सभी अपडेट्स को समझकर कार्रवाई करना ही सबसे सुरक्षित तरीका है।